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Poetry

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इस अत्यंत लोकप्रिय पुस्तक-माला की शुरुआत 1960 के दशक में हुई जब पहली बार नागरी लिपि में उर्दू की चुनी हुई शायरी के संकलन प्रकाशित कर राजपाल एण्ड सन्ज़ ने हिन्दी पाठकों को उर्दू शायरी का लुत्फ़ उठाने का अवसर प्रदान किया। इस पुस्तक-माला का संपादन उर्दू के सुप्रसिद्ध संपादक प्रकाश पंडित ने किया था। हर ..
₹ 125.00
Ex Tax:₹ 125.00
अग्रणी कवि बच्चन की कविता का आरंभ तीसरे दशक के मध्य 'मधु' अथवा मदिरा के इर्द-गिर्द हुआ और 'मधुशाला' एक-एक वर्ष के अंतर से प्रकाशित हुए। ये बहुत लोकप्रिय हुए और प्रथम 'मधुशाला' ने तो धूम ही मचा दी। यह दरअसल हिन्दी साहित्य की आत्मा का ही अंग बन गई और कालजयी रचनाओं कर श्रेणी में आ खड़ी हुई है। इन कविता..
₹ 145.00
Ex Tax:₹ 145.00
मधुशाला', 'मधुबाला', 'मधुकलश' अग्रणी कवि हरिवंशराय ‘बच्चन’ के तीन कविता-संकलन हैं जो हिन्दी साहित्य का महत्त्वपूर्ण अंग बन गए हैं और कालजयी श्रृंखलाओं की कड़ी में आ खड़े हुए हैं। इन कविताओं की रचना के समय बच्चन जी की आयु 27-28 वर्ष की थी, अतः स्वाभाविक है कि ये संग्रह यौवन के रस और ज्वार से भरपूर हैं।..
₹ 160.00
Ex Tax:₹ 160.00
हरिवंशराय ‘बच्चन’ की अमर काव्य-रचना 'मधुशाला' 1935 से लगातार प्रकाशित होती आ रही है। सूफियाना रंगत की 135 रुबाइयों से गूँथी गई इस कविता की हर रुबाई का अंत ‘मधुशाला’ शब्द से होता है। पिछले आठ दशकों से कई-कई पीढ़ियों के लोग इसे गाते-गुनगुनाते रहे हैं। यह एक ऐसी कविता है, जिसमें हमारे आस-पास का जीवन-सं..
₹ 135.00
Ex Tax:₹ 135.00
‘‘ठिठुरते जाड़े में, तेरे प्रेम की गरमाहट से, सूफ़ी क़लंदर के तन पर लिपटी, मोटी सूती चादर से, हमारी फ़क़ीरी के आलम में, इश्क़ की नवाबी शान से, संजीदा उमरों के बीच, दिल की शोख़ नादानियों से तेरे कांधे पर रखे सर से, मिलने वाली राहत से, तेरे हौसले, भरोसे और अपनेपन के आफ़ताब से लिखे हैं लव नोट्स! जो तुमसे कभी ..
₹ 195.00
Ex Tax:₹ 195.00
गागर में सागर की तरह इस पुस्तक में हिन्दी के कालजयी कवियों की विशाल काव्य-रचना में से श्रेष्ठतम और प्रतिनिधि काव्य का संकलन विस्तृत विवेचन के साथ प्रस्तुत है। प्रस्तुत चयन में मीरां (1498 -1546) के विशाल काव्य संग्रह से चुनकर प्रेम, भक्ति, संघर्ष और जीवन विषय पर पद प्रस्तुत किये गये हैं। इनमें मीरां..
₹ 185.00
Ex Tax:₹ 185.00
इस अत्यंत लोकप्रिय पुस्तक-माला की शुरुआत 1960 के दशक में हुई जब पहली बार नागरी लिपि में उर्दू की चुनी हुई शायरी के संकलन प्रकाशित कर राजपाल एण्ड सन्ज़ ने हिन्दी पाठकों को उर्दू शायरी का लुत्फ़ उठाने का अवसर प्रदान किया। शृंखला की हर पुस्तक में शायर के संपूर्ण लेखन में से बेहतरीन शायरी का चयन है और प..
₹ 150.00
Ex Tax:₹ 150.00
कालजयी रचना ‘मधुशाला’ के रचयिता हरिवंशराय बच्चन हिन्दी के सबसे लोकप्रिय कवि हैं जिनकी गिनती बीसवीं सदी के अग्रगण्य कवियों में सबसे ऊपर है। इस संकलन को स्वयं बच्चन जी ने तैयार किया था। इसमें उन्होंने अपनी सभी काव्य रचनाओं में जो उनकी नज़र में श्रेष्ठ थीं-उन्हें इसमें सम्मिलित किया। अलग-अलग समय, परिस्..
₹ 525.00
Ex Tax:₹ 525.00
‘‘ ‘मिलन यामिनी’ में 99 कविताएँ हैं। इन्हें मैंने 33-33 के तीन भागों में विभक्त कर दिया है। पहले और तीसरे भाग में मैंने एक खास तरह के साँचे में ढली कविताएँ रखी हैं। दूसरे भाग में कोई ऐसा प्रतिबंध स्वीकार नहीं किया गया। धर्मशाला के इस मनोरम स्थान में, जहाँ एक ओर तो हिमाच्छादित धवलीधार पर्वतमाला खड़ी ह..
₹ 225.00
Ex Tax:₹ 225.00
‘‘ ‘मिलन यामिनी’ में 99 कविताएँ हैं। इन्हें मैंने 33-33 के तीन भागों में विभक्त कर दिया है। पहले और तीसरे भाग में मैंने एक खास तरह के साँचे में ढली कविताएँ रखी हैं। दूसरे भाग में कोई ऐसा प्रतिबंध स्वीकार नहीं किया गया। धर्मशाला के इस मनोरम स्थान में, जहाँ एक ओर तो हिमाच्छादित धवलीधार पर्वतमाला खड़ी ह..
₹ 200.00
Ex Tax:₹ 200.00
इस अत्यंत लोकप्रिय पुस्तक-माला की शुरुआत 1960 के दशक में हुई जब पहली बार नागरी लिपि में उर्दू की चुनी हुई शायरी के संकलन प्रकाशित कर राजपाल एण्ड सन्ज़ ने हिन्दी पाठकों को उर्दू शायरी का लुत्फ़ उठाने का अवसर प्रदान किया। शृंखला की हर पुस्तक में शायर के संपूर्ण लेखन में से बेहतरीन शायरी का चयन है और प..
₹ 150.00
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There comes a time in most thinking people's lives when they begin to ask themselves about the meaning and purpose of their existence. I am not surprised that my friend Vishwanath, now in the 92nd year of his life and with much achieved should ask himself these very questions and put his posers for ..
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