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Literary - Aksharon Ke Saye - Paperback

Literary - Aksharon Ke Saye - Paperback
अक्षरों के साये अमृता प्रीतम की आत्मकथा रसीदी टिकट का दूसरा भाग है। यह केवल एक आत्मकथा ही नहीं, बल्कि एक बिलकुल नये, अध्यात्म से जुड़े धरातल पर उसका विवरण प्रस्तुत करती है। बचपन से आज तक के अपने जीवन के सभी अध्यायों और अनुभवों को वह किसी-न-किसी साये के तले जिया गया मानती हैं-जैसे जन्म लेते ही मौत के साये, फिर हथियारों, अक्षरों, सपनों, स्याह ताकतों और चिन्तन के साये-और यह पाठक के सामने एक नितान्त नवीन दुनिया के भीतर झाँककर देखने की उनकी अदम्य इच्छा को व्यक्त करता है। अनेक दृष्टियों से यह साहित्य की एक विशिष्ट रोमांचक आत्मकथा है, जिसे बचपन से आज तक के उनके क्रमवार फोटो-चित्र दृष्टि के स्तर पर भी उनकी अपनी छाया को उद्भासित करते नज़र आते हैं।

Literary - Aksharon Ke Saye - Paperback

Aksharon Ke Saye - Paperback - by - Rajpal And Sons

Aksharon Ke Saye - Paperback -

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  • Stock: 10
  • Model: RAJPAL727
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: RAJPAL727
  • ISBN: 9789350643327
  • ISBN: 9789350643327
  • Total Pages: 144
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Paperback
  • Year: 2015
₹ 215.00
Ex Tax: ₹ 215.00