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विज्ञान - Naveekaraniya Oorja

विज्ञान - Naveekaraniya Oorja
ऊर्जा के लिए हम अधिकांशत: जीवाश्म स्रोतों का दोहन करते रहे हैं। देश में कुल विद्युत् उत्पादन का लगभग 80 प्रतिशत कोयला आधारित विद्युत्गृहों से होता है। लगभग सभी सड़क वाहन, पानी के जहाज, हवाई जहाज आदि में भी जीवाश्म ईंधन डीजल या पेट्रोल का उपयोग किया जाता है। भोजन पकाने में प्रयुक्त गैस भी एक जीवाश्म स्रोत है। जीवाश्म स्रोतों के साथ मुख्य समस्या उनसे होने वाला प्रदूषण है। दूसरे, जीवाश्म स्रोत तेजी से समाप्ति की ओर अग्रसर हैं। इन समस्याओं के समाधान के लिए ऊर्जा के ऐसे स्रोतों के विश्वव्यापी प्रयास किए जा रहे हैं, जो पर्यावरण-हितैषी, अक्षय या नवीकरणीय होने के साथ ही किफायती भी हों। इस पुस्तक में ऊर्जा के नवीकरणीय स्रोतों, जैसे—सौर, पवन, जल, बायोमास, अपशिष्ट, भूतापीय, महासागर एवं हाइड्रोजन—पर प्रकाश डाला गया है। ऊर्जा स्रोत की ऐतिहासिक पृष्ठिभूमि, वैश्विक एवं भारतीय परिदृश्य, लक्ष्य एवं उपलब्धियाँ, अनुसंधान एवं विकास आदि पर भी चर्चा की गई है। नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के विभिन्न वित्तीय प्रोत्साहनों का उल्लेख इसमें है। आशा है, इस पुस्तक से विद्यार्थी, शिक्षक एवं मीडियाकर्मी ही नहीं, सामान्य पाठक भी लाभान्वित होंगे और यह जनमानस में भविष्य के ऊर्जा स्रोतों के प्रति उत्सुकता एवं जागरूकता उत्पन्न करने में सफल होगी।विषय-सूचीप्रस्तावना — Pgs. 7कही-अनकही — Pgs. 91. ऊर्जा : एक अवलोकन (Energy An Overview) — Pgs. 152. सौर ऊर्जा : तापीय (Solar Energy Thermal) — Pgs. 303. सौर प्रकाशीय ऊर्जा (Solar Photovoltaic Energy) — Pgs.  484. पवन ऊर्जा (Wind Energy) — Pgs. 645. जल विद्युत् (Hydro Power) — Pgs. 856. बायोमास एवं बायोगैस से ऊर्जा (Energy from Biomass and Biogas) — Pgs. 1017. अपशिष्ट से ऊर्जा (Biomass Energy and Biogas) — Pgs. 1278. पृथ्वी से ऊर्जा (Geothermal Energy) — Pgs. 1399. सागर से ऊर्जा (Energy from Ocean) — Pgs. 15410. हाइड्रोजन ऊर्जा (Hydrogen Energy) — Pgs. 17611. संदर्भ (References) — Pgs. 20112. विनम्र अनुरोध : आपके संकल्प एवं सुझाव — Pgs. 206 (A Humble Request Your Commitment and Suggestions)

विज्ञान - Naveekaraniya Oorja

Naveekaraniya Oorja - by - Prabhat Prakashan

Naveekaraniya Oorja - ऊर्जा के लिए हम अधिकांशत: जीवाश्म स्रोतों का दोहन करते रहे हैं। देश में कुल विद्युत् उत्पादन का लगभग 80 प्रतिशत कोयला आधारित विद्युत्गृहों से होता है। लगभग सभी सड़क वाहन, पानी के जहाज, हवाई जहाज आदि में भी जीवाश्म ईंधन डीजल या पेट्रोल का उपयोग किया जाता है। भोजन पकाने में प्रयुक्त गैस भी एक जीवाश्म स्रोत है। जीवाश्म स्रोतों के साथ मुख्य समस्या उनसे होने वाला प्रदूषण है। दूसरे, जीवाश्म स्रोत तेजी से समाप्ति की ओर अग्रसर हैं। इन समस्याओं के समाधान के लिए ऊर्जा के ऐसे स्रोतों के विश्वव्यापी प्रयास किए जा रहे हैं, जो पर्यावरण-हितैषी, अक्षय या नवीकरणीय होने के साथ ही किफायती भी हों। इस पुस्तक में ऊर्जा के नवीकरणीय स्रोतों, जैसे—सौर, पवन, जल, बायोमास, अपशिष्ट, भूतापीय, महासागर एवं हाइड्रोजन—पर प्रकाश डाला गया है। ऊर्जा स्रोत की ऐतिहासिक पृष्ठिभूमि, वैश्विक एवं भारतीय परिदृश्य, लक्ष्य एवं उपलब्धियाँ, अनुसंधान एवं विकास आदि पर भी चर्चा की गई है। नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के विभिन्न वित्तीय प्रोत्साहनों का उल्लेख इसमें है। आशा है, इस पुस्तक से विद्यार्थी, शिक्षक एवं मीडियाकर्मी ही नहीं, सामान्य पाठक भी लाभान्वित होंगे और यह जनमानस में भविष्य के ऊर्जा स्रोतों के प्रति उत्सुकता एवं जागरूकता उत्पन्न करने में सफल होगी।विषय-सूचीप्रस्तावना — Pgs.

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  • Stock: 10
  • Model: PP2450
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: PP2450
  • ISBN: 9789380823003
  • ISBN: 9789380823003
  • Total Pages: 208
  • Edition: Edition 1st
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Hard Cover
  • Year: 2017
₹ 400.00
Ex Tax: ₹ 400.00