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प्रश्नोत्तरी शृंखला - 1000 Vigyan Prashnottari

प्रश्नोत्तरी शृंखला - 1000 Vigyan Prashnottari
आरंभ से ही मानव स्वभाववश खोजी प्रवृत्ति का रहा है । उसके मस्तिष्क में सवाल कौंधते रहे हैं-यह क्या है, कैसे है, क्यों है आदि । ऐसे ही सवालों से जूझने का नाम विज्ञान है । सवालों की तह में जाने की कोशिश से ही हम जान पाते हैं कि हमारी पृथ्वी पर कभी डायनासोर जैसे विशाल सरीसृप का राज हुआ करता था तथा पृथ्वी सूर्य की परिक्रमा करती हैं, न कि सूर्य पृथ्वी की- और ऐसे ही अनंत सवाल हैं, जो विज्ञान ने हमारे समक्ष रखे हैं । आज विज्ञान के प्रभामंडल से हमारी दुनिया ओतप्रोत है । जिधर भी निगाह डालिए उधर उसकी मौजूदगी मिलेगी- रेडियो, टेपरिकॉर्डर सिनेमा, वीडियो, फ्रिज, वाशिंग मशीन, टेलीविजन, कंप्यूटर, कार, रेल, जहाज, रॉकेट, मिसाइल, परमाणु बम आदि । यह सूची और भी लंबी है । जीवन का ऐसा कोई कोना नहीं बचा है जहाँ' उसका हस्तक्षेप नहीं हें, चाहे नितांत व्यक्‍त‌िगत हो या सामाजिक । जीवन में विज्ञान की इतनी उपयोगिता के बाद भी इसकी अनेक ऐसी छोटी- छोटी एवं महत्त्वपूर्ण बातें हैं जिनसे हम अनभिज्ञ हैं । इस पुस्तक में इन्हीं बातों को रोचक प्रश्‍नों के माध्यम से पाठकों तक पहुँचाने का प्रयत्‍न किया गया है ।

प्रश्नोत्तरी शृंखला - 1000 Vigyan Prashnottari

1000 Vigyan Prashnottari - by - Prabhat Prakashan

1000 Vigyan Prashnottari -

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  • Stock: 10
  • Model: PP1833
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: PP1833
  • ISBN: 9788177212785
  • ISBN: 9788177212785
  • Total Pages: 168
  • Edition: Edition 1st
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Hard Cover
  • Year: 2020
₹ 300.00
Ex Tax: ₹ 300.00