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डॉ .ए.पी.जे. अब्दुल कलाम साहित्य - Tejaswi Man

डॉ .ए.पी.जे. अब्दुल कलाम साहित्य - Tejaswi Man
मैं यह पुस्तक इसलिए लिख रहा हूँ ताकि मेरे युवा पाठक उस आवाज को सुन सकें, जो कह रही है-' आगे बढ़ो ' । अपने नेतृत्व को हमें समृद्धि की ओर ले जाना चाहिए । रचनात्मक विचारोंवाले युवा भारतीयों के विचार स्वीकृति की बाट जोहते-जोहते मुरझाने नहीं चाहिए । जैसाकि कहा गया है-चितन पूँजी है, उद्यम जरिया है और कड़ी मेहनत समाधान है । युवा पीढ़ी ही देश की पूँजी है । जब बच्चे बड़े हो रहे होते हैं तो उनके आदर्श उस काल के सफल व्यक्‍त‌ित्व ही हो सकते हैं । माता-पिता और प्राथमिक कक्षाओं के अध्यापक आदर्श के रूप में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं । बच्चे के बड़े होने पर राजनीति, विज्ञान, प्रौद्योगिकी और उद्योग जगत् से जुड़े योग्य तथा विशिष्‍ट नेता उनके आदर्श बन सकते हैं । -इसी पुस्तक से भारत के पूर्व राष्‍ट्रपति महामहिम डॉ. ए.पीजे. अब्दुल कलाम ने आनेवाले वर्षों में भारत को एक महाशक्‍त‌ि के रूप में स्थापित करने का स्वप्न देखा है; और इसे साकार करने की संभावना उन्हें भारत की युवा शक्‍त‌ि में नजर आती है । हम बच्चों- युवाओं को प्रेरित कर उन्हें शक्‍त‌ि-संपन्न भारत की नींव बना सकें, यही इस पुस्तक को लिखने का उद‍्देश्य है । प्रत्येक चिंतनशील भारतीय के लिए पठनीय पुस्तक ।अनुक्रम1. स्वप्न और संदेश —Pgs. 172. हमें हमारा आदर्श दो —Pgs. 283. समर्पित अध्यापक, साधक वैज्ञानिक —Pgs. 384. सत्संग की शति —Pgs. 525. राजनीति तथा धर्म से परे देशभति —Pgs. 666. ज्ञानवान समाज —Pgs. 757. ताकतों को एकजुट करना —Pgs. 848. नए राज्य का निर्माण —Pgs. 959. मेरे देशवासियों के नाम —Pgs. 10510. इति कथा —Pgs. 111

डॉ .ए.पी.जे. अब्दुल कलाम साहित्य - Tejaswi Man

Tejaswi Man - by - Prabhat Prakashan

Tejaswi Man - मैं यह पुस्तक इसलिए लिख रहा हूँ ताकि मेरे युवा पाठक उस आवाज को सुन सकें, जो कह रही है-' आगे बढ़ो ' । अपने नेतृत्व को हमें समृद्धि की ओर ले जाना चाहिए । रचनात्मक विचारोंवाले युवा भारतीयों के विचार स्वीकृति की बाट जोहते-जोहते मुरझाने नहीं चाहिए । जैसाकि कहा गया है-चितन पूँजी है, उद्यम जरिया है और कड़ी मेहनत समाधान है । युवा पीढ़ी ही देश की पूँजी है । जब बच्चे बड़े हो रहे होते हैं तो उनके आदर्श उस काल के सफल व्यक्‍त‌ित्व ही हो सकते हैं । माता-पिता और प्राथमिक कक्षाओं के अध्यापक आदर्श के रूप में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं । बच्चे के बड़े होने पर राजनीति, विज्ञान, प्रौद्योगिकी और उद्योग जगत् से जुड़े योग्य तथा विशिष्‍ट नेता उनके आदर्श बन सकते हैं । -इसी पुस्तक से भारत के पूर्व राष्‍ट्रपति महामहिम डॉ.

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  • Stock: 10
  • Model: PP1326
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: PP1326
  • ISBN: 9789351865421
  • ISBN: 9789351865421
  • Total Pages: 127
  • Edition: Edition 1st
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Hard Cover
  • Year: 2019
₹ 200.00
Ex Tax: ₹ 200.00