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Fiction : Novel - Dharkan

Fiction : Novel - Dharkan
बीसवीं सदी के आठवें दशक में आइसलैंड के कवियों का एक ऐसा समर्थ और महत्त्‍वपूर्ण दल उभरकर सामने आया जिसने वहाँ के कविता संसार में भाषा, बिम्‍ब एवं शिल्‍प के स्‍तर पर बहुत कुछ बदला। सिगुरदुर पॉलसन इसी दल के कवियों में से एक थे। इस दल के कवि अपने आप को ‘पोयट्स लॉरिएट विदाउट लॉरेल’ अर्थात् ‘जयपत्र विहीन राजकवि’ कहते थे।अपने पहले काव्‍य-संग्रह 'पोयम्‍स प्‍ले एट सी-सा' से ही सिगुरदुर पॉलसन ने एक ऐसे सम्भावनाशील युवा कवि के रूप में ख्‍याति अर्जित की, जिसके पास शब्‍दों की असाधारण सम्‍पदा थी और उसके साथ ही थी उनसे खेलने की अप्रितम प्रतिभा। जीवन अपने सम्‍पूर्ण प्राकृतिक सौन्‍दर्य के साथ उसके पास था जिसे वह ‘अभी’ में जीता था—अतीत और भविष्‍य से परे।पॉलसन की कविताओं में ताज़गी है, रचनात्‍मक ऊर्जा है, जीवन के प्रति अगाध अनुराग है। लेकिन इसके साथ ही है समाज में व्‍याप्‍त बुर्जुआ ठहराव के प्रति एक बेचैनी। वे उन लोगों से क़तई सहमत नहीं, जो पाप और दु:ख को, जीवन के सुखों को, जीवन के अस्तित्‍व का सार मानते हैं और जीवन में सुखों को नकारते हैं।सिगुरदुर पॉलसन की शिक्षा-‍दीक्षा पेरिस में हुई और कुछ-कुछ अन्तराल पर वे पन्‍द्रह वर्ष वहाँ रहे और नाटकों का अध्‍यापन करते रहे। पेरिस के साथ उनके युवा जीवन की विभिन्‍न स्‍मृतियाँ बहुत गहराई से जुड़ी हैं। यही वजह है कि उनकी कविताओं में पेरिस में बिताया गया समय बार-बार आकर जीवन्‍त हो जाता है। 

Fiction : Novel - Dharkan

Dharkan - by - Rajkamal Prakashan

Dharkan -

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  • Stock: 10
  • Model: RKP1446
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: RKP1446
  • ISBN: 0
  • Total Pages: 50p
  • Edition: 2009, Ed. 1st
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Hard Back
  • Year: 2009
₹ 150.00
Ex Tax: ₹ 150.00