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Fiction : Stories - Pratinidhi Kahaniyan : Phanishwarnath Renu

Fiction : Stories - Pratinidhi Kahaniyan : Phanishwarnath Renu
प्रेमचन्द के बाद हिन्दी कथा-साहित्य में रेणु उन थोड़े-से कथाकारों में अग्रगण्य हैं जिन्होंने भारतीय ग्रामीण जीवन का उसके सम्पूर्ण आन्तरिक यथार्थ के साथ चित्रण किया है। स्वाधीनता के बाद भारतीय गाँव ने जिस शहरी रिश्ते को बनाया और निभाना चाहा है, रेणु की नज़र उससे होनेवाले सांस्कृतिक विघटन पर भी है जिसे उन्होंने गहरी तकलीफ़ के साथ उकेरा है। मूल्य-स्तर पर उससे उनकी आंचलिकता अतिक्रमित हुई है और उसका एक जातीय स्वरूप उभरा है।वस्तुतः ग्रामीण जन-जीवन के सन्दर्भ में रेणु की कहानियाँ अकुंठ मानवीयता, गहन रागात्मकता और अनोखी रसमयता से परिपूर्ण हैं। यही कारण है कि उनमें एक सहज सम्मोहन और पाठकीय संवेदना को परितृप्त करने की अपूर्व क्षमता है। मानव-जीवन की पीड़ा और अवसाद, आनन्द और उल्लास को एक कलात्मक लय-ताल सौंपना किसी रचनाकार के लिए अपने प्राणों का रस उँडेलकर ही सम्भव है और रेणु ऐसे ही रचनाकार हैं। इस संग्रह में उनकी प्रायः सभी महत्वपूर्ण कहानियाँ संकलित हैं।

Fiction : Stories - Pratinidhi Kahaniyan : Phanishwarnath Renu

Pratinidhi Kahaniyan : Phanishwarnath Renu - by - Rajkamal Prakashan

Pratinidhi Kahaniyan : Phanishwarnath Renu -

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  • Stock: 10
  • Model: RKP1397
  • Weight: 250.00g
  • Dimensions: 18.00cm x 12.00cm x 2.00cm
  • SKU: RKP1397
  • ISBN: 0
  • Total Pages: 144p
  • Edition: 2018, Ed. 7th
  • Book Language: Hindi
  • Available Book Formats: Hard Back, Paper Back
  • Year: 1994
₹ 99.00
Ex Tax: ₹ 99.00