डॉ. भीमराव अम्बेडकर का नाम भारत के परिवर्तनवादी आन्दोलनों के इतिहास में सदैव स्मरणीय रहेगा। वे भारत के दलित समाज के उद्धारक तथा पुरुषार्थ के प्रतीक थे।भारतीय समाज, जो अनन्त काल से जाति, वर्ण-विभाजन के कारण हज़ारों भागों में विभक्त था, उसके स्वीकरण का जो सराहनीय प्रयास डॉ. अम्बेडकर ने किया, वह भारत..
This brief biography of Dr. Rajendra Prasad, one of the tallest personalities of our time, narrates the fascinating story of the struggles and achievements of an unknown boy from an unknown village who, by dint of his extra-ordinary intelligence, keen intellect, hard work and selfless service rose t..
डॉ. ज़ाकिर हुसैन स्मृति व्याख्यान-माला का आयोजन हर वर्ष ज़ाकिर हुसैन कॉलेज में किया जाता है और इसका उद्देश्य महान शिक्षाविद्, राष्ट्रवादी नेता और भारत के राष्ट्रपति ज़ाकिर साहब के प्रति सम्मान व्यक्त करना है। आधुनिक भारत में उच्च शिक्षा के लिए देहली कॉलेज के ऐतिहासिक अवदान और समकालीन महत्त्व को ज़ाकिर स..
यह किताब उस दिन से शुरू होती है जब 1940 में ‘पाकिस्तान प्रस्ताव' पास किया गया था। तब मैं स्कूल का एक छात्र मात्र था, लेकिन लाहौर के उस अधिवेशन में मौजूद था जहाँ यह ऐतिहासिक घटना घटी थी। यह किताब इस तरह की बहुत-सी घटनाओं की अन्दरूनी जानकारी दे सकती है, जो किसी और तरीक़े से सामने नहीं आ सकती—बँटवारे स..
आपका बंटी' और 'महाभोज' जैसे उपन्यास और अनेक बहुपठित-चर्चित कहानियों की लेखिका मन्नू भंडारी इस पुस्तक में अपने लेखकीय जीवन की कहानी कह रही हैं । यह उनकी आत्मकथा नहीं है, लेकिन इसमें उनके भावात्मक और सांसारिक जीवन के उन पहलुओं पर भरपूर प्रकाश पड़ता है जो उनकी रचना-यात्रा में निर्णायक रहे । एक ख्यातनाम..
भारत-पाक विभाजन एक ऐसी त्रासदी है जिसकी भीषणता और भारतीय जन-जीवन पर पड़े उसके प्रभाव को न तो देश के एक बड़े हिस्से ने महसूस किया और न साहित्य में ही उसे उतना महत्त्व दिया गया जितना दिया जाना चाहिए था। देश की आज़ादी और विभाजन को अब सत्तर साल हो रहे हैं; फिर भी ढूँढ़ने चलें तो कम से कम कथा-साहित्य में..
‘‘सपनों को साकार कैसे किया जाये-बिनोद चौधरी की आत्मकथा पढ़कर समझा जा सकता है। सभी भावी उद्यमियों को अवश्य ही यह पुस्तक पढ़नी चाहिए।’’ -विद्या देवी भंडारे, नेपाल की राष्ट्रपति बिनोद चौधरी एशिया के एक प्रमुख उद्योगपति हैं जो अन्तर्राष्ट्रीय पत्रिका फोर्ब्स की 2013 की सूची में सम्मिलित होने वाले एकमात्र ..
यह पुस्तक है नलिनी जमीला की और यह है उनकी अपनी कहानी, उन्हीं की ज़ुबानी। पुस्तक के रूप में मलयालम में यह पहली बार प्रकाशित हुई, और सौ दिन के अन्दर ही इसके छह संस्करण प्रकाशित हो गए। अब तक अंग्रेज़ी और अन्य कई भाषाओं में यह प्रकाशित हो चुकी है। शायद ही कभी किसी सैक्स-वर्कर ने अपने जीवन की कहानी इतने ..
एलन मस्क दुनिया में वर्तमान सदी में नए-नए आविष्कारों के पथप्रदर्शक माने जाते हैं। अंतरिक्ष की यात्रा, इलेक्ट्रिक कार, मोबाइल पेमेंट के पीछे इनका दिमाग है; उनके साथ कई और उपलब्धियाँ भी जुड़ी हैं। स्पेसएक्स के सीटीओ, टेस्ला के सीईओ, द बोरिंग कंपनी के संस्थापक, न्यूरालिंक और ओपन एआई के सह-संस्थापक के स..
क्यूबा की क्रान्ति का पैरा-दर-पैरा इतिहास बतानेवाली इस पुस्तक के केन्द्र में फ़िदेल कास्त्रो का जीवन है। वही फ़िदेल कास्त्रो जो आज पूरी दुनिया में साम्राज्यवाद-विरोध का प्रतीक बन चुके हैं।मात्र पच्चीस वर्ष की आयु में मुट्ठी-भर साथियों को लेकर और बिना किसी बाहरी मदद के फ़िदेल कास्त्रो ने क्यूबा के ..
भारतीय सिने-जगत के जनक धुंडीराज गोविन्द फाल्के उर्फ़ दादासाहेब फाल्के के जीवन व योगदान को यथोचित रेखांकित करनेवाला ‘फ़िल्म उद्योगी दादासाहेब फाल्के’ एक महत्त्वपूर्ण दस्तावेज़ है। अनेक प्रक्रम, विक्रम और अपार चुनौतियों को पार करते हुए दादा साहब ने अपने जीवन के अन्त तक भारतीय सिनेमा की बुनियाद और उसके ..