अरुंधति रॉय 2014 की सर्दियों में एडवर्ड स्नोडेन से मिलीं। उनके साथ में थे अभिनेता और लेखक जॉन क्यूज़ेक और डेनियल एल्सबर्ग, जिन्हें 60 के दशक का स्नोडेन कहा जाता है। उनकी बातचीत में शामिल थे हमारे वक्त के सभी बड़े विषय – राज्य की प्रकृति, एक बेमियादी जंग के दौर में खुफिया निगरानी, और देशभक्ति का मतलब..
जंगल के जीव-जन्तुओं की छियासठ घटनाओं का इन कहानियों में वर्णन है। इनसान के समान ये जीव संवेदनशील होते हैं। सुख-दु:ख की अनुभूति, ममता, स्नेह, अनुराग, वात्सल्य जैसी कोमल भावनाएँ इनमें इनसान के समान ही देखी जाती हैं। इनमें जीवनसंगिनी और भाई-बहनों का रिश्ता सुखमय होता है। अपने-पराए में भेदभाव के बिना मौ..
इस पुस्तक में हिन्दी के शीर्षस्थ कथाकार अमरकान्त के संस्मरणों, आलेखों तथा साक्षात्कारों को संकलित किया गया है जो अत्यन्त दिलचस्प एवं महत्त्वपूर्ण हैं। इन रचनाओं में एक बड़े लेखक की परिवेश तथा सृजन-सम्बन्धी परिस्थितियों और संघर्ष-कथा के साथ, उन अग्रजों एवं साथी लेखकों को आदर और आत्मीयता के साथ याद किय..
शरीर के अन्य रोगों की भाँति पेट के रोगों के निदान (Diagnosis) एवं इलाज (Treatment) के ढंग में भी आमूल-चूल बदलाव आया है। एक साधारण व्यक्ति को पेट के रोगों के बारे में कम से कम इतनी जानकारी होनी चाहिए कि वह सही ढंग से अपने रोग को समझ सके तथा सही समय पर उचित इलाज करा सके।इस पुस्तक के माध्यम से पेट के..
यह पुस्तक राष्ट्रकवि रामधारी सिंह ‘दिनकर’ के चिन्तनपूर्ण, लोकोपयोगी निबन्धों का श्रेष्ठ संकलन है। दिनकर जी के चिन्तन-स्वरूप का विस्मयकारी साक्षात्कार करानेवाले ये निबन्ध पाठक के ज्ञान-क्षितिज का विस्तार भी करते हैं। इन निबन्धों में जहाँ एक ओर विवाह, प्रेम, काम, नैतिकता और शिक्षा जैसे विषयों पर विद्व..